मघा दिवस - Magha Puja

मघा दिवस - Magha Puja

मघा दिवस या मघा पूजा बौद्ध धर्म का एक विशेष पर्व माना जाता है। यह त्यौहार गौतम बुद्ध के जीवन में घटित एक महत्तवपूर्ण घटना की स्मृति में मनाया जाता है। मघा पूजा वर्ष 2022 में 16 फरवरी को है। बौद्ध धर्म में मघा पूजा का विशेष धार्मिक महत्व है। यह पर्व बौद्ध धर्म की धार्मिक एकता और विश्वास का प्रतीक माना जाता है।

मघा दिवस की कहानी (Magha Puja)

बौद्ध धर्म के अनुसार सारनाथ के हिरण पार्क से पलायन करने के बाद भगवान बुद्ध राजागहा शहर की ओर बढ़े जहां 1250 संत बुद्ध के दो प्रमुख शिष्यों के साथ वेरुवना मठ में भगवान बुद्ध के सम्मान के लिए एकत्रित हुए थे। इस दिन गौतम बुद्ध ने इन्हें धर्मोपदेश दिया था। मघा दिवस इसी दिन को याद करने के लिए प्रत्येक वर्ष मनाया जाता है। 
इस दिन चार अहम बातें हुई थीं जिसके प्रतीक स्वरूप इस पर्व को हर साल मनाया जाता है:

* 1250 बौद्ध भिक्षु बिना पूर्व सूचना के एक स्थान पर एकत्र हुए थे। 
* सभी 1250 बौद्ध भिक्षु अरहत यानि शिक्षित और ज्ञानी थे। 
* सभी को बुद्ध ने व्यक्तिगत रूप से अरहत ठहराया था। 
* और यह सब मार्च यानि मघा महीने की पूर्णिमा तिथि को हुआ था।

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